खेल डेस्क. पांचवें टी-20 वर्ल्ड कप के लिए जब श्रीलंका टीम का चयन किया गया, तो किसे पता था कि मलिंगा बेस्ट बॉलर से ‘कैप्टन द ग्रेट’ बनकर स्वदेश वापस लौटेंगे। टूर्नामेंट के आखिरी के तीन मुकाबलों में उन्हें कप्तानी का मौका मिला। बस यहीं से उनकी किस्मत ने एक नई कहानी रच डाली। वे टी-20 वर्ल्ड कप जीतने वाले पहले श्रीलंकाई कप्तान हैं। कभी विकेट की हैट्रिक लगाने वाले मलिंगा ने लगातार जीत की हैट्रिक पूरी की।
मामूली नहीं यह हैट्रिक
श्रीलंका की जीत की हैट्रिक कतई मामूली नहीं कही जा सकती। उन्होंने वर्ल्ड के बेस्ट कैप्टन महेंद्र सिंह धोनी को पराजित करते हुए खिताब अपनी झोली में डाला। यह जीत भले ही उनके नाम जाए, लेकिन पूर्व कप्तान महेला जयवर्धने और कुमार संगकारा के योगदान को कमतर नहीं आंका जा सकता। फील्ड पर मलिंगा की तुलना में कहीं अधिक दोनों पूर्व कप्तान एक्टिव दिखे। इसी का कमाल था कि फील्डरों ने न केवल रनों पर अंकुश लगाए, बेहतरीन कैच भी लपके।
उल्लेखनीय है कि दिनेश चांडीमल को धीमे ओवर रेट के कारण निलंबित किए जाने के बाद मलिंगा को कप्तानी मिली थी।
खेल डेस्क. पांचवें टी-20 वर्ल्ड कप के लिए जब श्रीलंका टीम का चयन किया गया, तो किसे पता था कि मलिंगा बेस्ट बॉलर से ‘कैप्टन द ग्रेट’ बनकर स्वदेश वापस लौटेंगे। टूर्नामेंट के आखिरी के तीन मुकाबलों में उन्हें कप्तानी का मौका मिला। बस यहीं से उनकी किस्मत ने एक नई कहानी रच डाली। वे टी-20 वर्ल्ड कप जीतने वाले पहले श्रीलंकाई कप्तान हैं। कभी विकेट की हैट्रिक लगाने वाले मलिंगा ने लगातार जीत की हैट्रिक पूरी की।
मामूली नहीं यह हैट्रिक
श्रीलंका की जीत की हैट्रिक कतई मामूली नहीं कही जा सकती। उन्होंने वर्ल्ड के बेस्ट कैप्टन महेंद्र सिंह धोनी को पराजित करते हुए खिताब अपनी झोली में डाला। यह जीत भले ही उनके नाम जाए, लेकिन पूर्व कप्तान महेला जयवर्धने और कुमार संगकारा के योगदान को कमतर नहीं आंका जा सकता। फील्ड पर मलिंगा की तुलना में कहीं अधिक दोनों पूर्व कप्तान एक्टिव दिखे। इसी का कमाल था कि फील्डरों ने न केवल रनों पर अंकुश लगाए, बेहतरीन कैच भी लपके।
उल्लेखनीय है कि दिनेश चांडीमल को धीमे ओवर रेट के कारण निलंबित किए जाने के बाद मलिंगा को कप्तानी मिली थी।